यास तूफान को लेकर केंद्र और राज्य की सरकारों ने पूरी तैयारी कर ली है. इस तूफान का असर पश्चिम बंगाल,उड़ीसा, बिहार, असम, मेघालय आदि राज्यों के साथ-साथ पश्चिम बंगाल के लगभग सभी जिलों में कम और ज्यादा हो सकता है. सिलीगुड़ी में तूफान से बचाव के लिए नगर निगम प्रशासन ने कमर कस ली है. नगर निगम के प्रशासक गौतम देव ने संभावित यस तूफान से निबटने के लिए विभिन्न विभागों के आला अधिकारियों के साथ एक बैठक की है.गौतम देव के निर्देश पर बचाव तथा राहत कार्यों के लिए सिलीगुड़ी नगर निगम में कंट्रोल रूम बनाया गया है. आपातकालीन स्थितियों में लोगों की मदद के लिए क्या व्यवस्था होगी, इस पर योजना बनाकर तैयारी की जा रही है . बिजली विभाग, अग्निशमन विभाग, पेयजल विभाग समेत विभिन्न विभागों के अधिकारियों को तैयार रहने को कहा गया है. इसके अलावा सड़क और मकानों के गिर्द तूफ़ान में धराशाई होने वाले वृक्षों पर भी नजर रखी जा रही है. तेज आंधी तूफान में पेड़ गिर कर मकान को क्षतिग्रस्त या सड़क को अवरोध न कर सके, ऐसे में सड़कों को तुरंत साफ करने के लिए स्वचालित आरा मशीन की भी व्यवस्था कर ली गई है. इसी तरह जलजमाव दूर करने के लिए पंपिंग मशीनों की भी व्यवस्था की जा रही है.
ऐसी जानकारी मिल रही है कि तूफान के कारण कई नदियों का जलस्तर बढ़ जाएगा. इसके मद्देनजर आसपास के इलाकों में बाढ़ आ सकती है. प्रशासनिक बैठक में तटबंध के कटाव तथा उसके क्षतिग्रस्त होने के बाद रिपेयरिंग के लिए समुचित व्यवस्था करने को संबंधित विभागों को कहा गया है. सिलीगुड़ी नगर निगम की ओर से सिलीगुड़ी तथा आसपास के क्षेत्रों में प्रभावित लोगों की सहायता के लिए तिरपाल, सूखे खाद्य पदार्थ आदि की व्यवस्था की जा रही है.
इस बीच मौसम विभाग के सिक्किम क्षेत्र के निदेशक गोपीनाथ राहा ने एक राहत भरी खबर दी है.सिलीगुड़ी समेत उत्तर बंगाल में यास का ज्यादा असर नहीं होगा. इसलिए लोगों को घबराने की जरूरत नहीं है.उनके अनुसार कल तथा परसों हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है. हालांकि वातावरण में बादल बने रहेंगे तथा तापमान में भी कमी आएगी. मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार चक्रवाती तूफान में 155 से लेकर 165 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चल सकती हैं. इसका ज्यादा असर उड़ीसा, असम, मेघालय ,बिहारआदि राज्यों में हो सकता है. इस तूफान के मद्देनजर कई ट्रेन और उड़ान सेवा को भी स्थगित कर दिया गया है. पूर्वी रेलवे ने 24 से 29 मई के बीच चलने वाली 25 ट्रेनों को कैंसिल कर दिया है.
विशेषज्ञों के अनुसार यास तूफान काफी तेज रफ्तार के साथ बंगाल में प्रवेश करने जा रहा है. इससे संभावना है कि भारी क्षति हो सकती है. कोलकाता तथा निकटवर्ती इलाकों में तूफान का भारी असर हो सकता है. इस क्रम में उत्तर बंगाल वन विभाग के 40 कुशल कर्मचारियों को कोलकाता भेजा गया है. मालूम हो कि पिछले साल बंगाल में अम्फन तूफान आया था, जिसमें जान माल की भारी क्षति हुई थी.राज्य सरकार तूफान से कम से कम क्षति हो, इस का भरसक प्रयास कर रही है.
मौसम विभाग से प्राप्त जानकारी के अनुसार अगर यस तूफान का असर उत्तर बंगाल के जिलों में नहीं पड़ता है, तब भी 26 मई के बाद यहां भारी बारिश हो सकती है. इसलिए मौसम विभाग के अधिकारियों द्वारा कृषि विभाग और किसानों को सतर्क कर दिया गया है कि वे खेतों में लगी धान की फसल को काट लें. इसके अलावा मक्के, बदाम की फसल को भी काटने को कहा गया है.