सिलीगुड़ी में लॉटरी के साथ-साथ जुआ का धंधा भी जोर शोर से चल रहा है. सिलीगुड़ी नगर निगम के अधीन कई वार्डों में शाम होते ही युवाओं में जुए की बिसात बिछ जाती है.जुआ खेलने के क्रम में हंगामा और दुर्घटना की बात भी सामनेआती है.इसकी तस्दीक करती एक घटना सिलीगुड़ी नगर निगम के वार्ड नंबर 5 में घटी.जलपाई मोड़ के निकट ही नतुन पाड़ा में रहने वाले कुछ लड़कों ने रविवार को रात में जुआ खेला. जुआ खेलने के क्रम में किसी बात को लेकर उनका आपस में झगड़ा हो गया. इसके बाद लड़कों ने, एक युवक जिसका नाम हाबुल हुसैन था को छत पर से धक्का देकर नीचे गिरा दिया, जहां उसकी मौत हो गई.हालांकि इस घटना में पुलिस ने हमलावर को गिरफ्तार कर लिया है तथा हमलावर राजा चौधरी ने अपना गुनाह भी कबूल कर लिया है. लेकिन इस घटना से पता चलता है कि सिलीगुड़ी पुलिस लाख दावा करे कि शहर में सट्टेबाजी और जुए बाजी की घटनाओं पर नियंत्रण पाने की कोशिश की जा रही है,इस पर संदेह ही है.
जैसे-जैसे बेरोजगारी बढ़ती जा रही है, युवाओं में आक्रामकता के साथ-साथ नशा और जुआ की लते भी आबाद होती जा रही है.शहर में जुओं के कई अड्डे चोरी-छिपे चल रहे हैं.केवल जलपाई मोड़ नतून पाड़ा ही नहीं,गंगानगर,झंकार मोड़,कुलीपाड़ा,प्रधान नगर, गुरुंग बस्ती आदि इलाकों में जुआ और सट्टे के अनगिनत केंद्र चल रहे हैं. पुलिस को पता नहीं चलता, क्योंकि यह घरों के अंदर या फिर घरों की छतों के ऊपर आसपास के लोगों की नजरों से बचाकर खेले जाते है,जहां कुछ परिचित चेहरे ही आते हैं. कभी-कभी किसी बात को लेकर जुआरियों में हंगामा हो जाता है, तब इस तरह की घटना सामने आती है. अक्सर यह देखा जाता है कि ऐसी घटना का ताना-बाना पहले से तैयार कर लिया जाता है. जुआ खेलने के क्रम में ड्रिंक भी चलती है. नशे में जुआरी बहक जाते हैं और फिर ऐसी घटना सामने आती है.
कुछ समय पहले सिलीगुड़ी पुलिस ने जुआरियों के खिलाफ एक अभियान छेड़ा था, लेकिन बाद में यह ठंडा पड़ गया.अब दुर्गा पूजा और दीवाली दोनों सामने है, ऐसे में शहर में जुआ और सट्टे की घटनाओं में वृद्धि से इनकार नहीं किया जा सकता. शहर की पुलिस को एक बार फिर से जुआ और सट्टे के खिलाफ अभियान शुरू करना चाहिए तथा जुआरियों के खिलाफ पूरी दृढ़ता और कड़ाई से कानून का पालन करना चाहिए.