पश्चिम बंगाल सरकार और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के स्वास्थ्य साथी कार्ड को लेकर सिलीगुड़ी में अलग-अलग बातें की जा रही है. सिलीगुड़ी के अलग-अलग क्षेत्रों में अनेक लोग स्वास्थ्य साथी कार्ड प्राप्त कर चुके हैं, जबकि कई लोग इसे प्राप्त करने के लिए लाइन में लगे हैं. कई लोग ऐसे भी हैं जिन्हें ऐसे कार्ड पर कोई भरोसा नहीं है. उन्हें ऐसा लगता है कि विधानसभा चुनाव से पूर्व मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने एक झुनझुना थमा दिया है. जिसका चुनाव के बाद कोई मोल नहीं रह जाएगा.
जितनी बड़ी तादाद में स्वास्थ साथी कार्ड बनाए जा रहे हैं, ऐसे में लोग एक दूसरे से सवाल करते नजर आ रहे हैं कि क्या निजी अस्पताल अथवा नर्सिंग होम ऐसे कार्ड के आधार पर मरीज का निशुल्क इलाज कर सकेंगे. स्वास्थ्य साथी कार्ड पर ₹500000 तक का निशुल्क इलाज होगा. क्या निजी नर्सिंग होम वाले मरीज का 500000 रुपए तक मुफ्त में इलाज कर सकेंगे. लोग आपस में यह भी चर्चा कर रहे हैं कि ऐन चुनाव से पूर्व मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने द्वारे द्वारे अथवा पारा पारा कार्यसूची में इसे शामिल क्यों किया. स्वास्थ्य साथी कार्ड पर भ्रम तो बना है, लेकिन फिर भी लोग किसी न किसी उम्मीद में कार्ड बनवाने के लिए दौड़ भाग कर रहे हैं.
दूसरी ओर भारतीय जनता पार्टी की ओर से कहा जा रहा है कि स्वास्थ्य साथी कार्ड एक चुनावी झुनझुना है, जिसका चुनाव के बाद कोई इस्तेमाल नहीं होगा. भाजपा नेता लॉकेट चटर्जी ने तो यहां तक कह दिया है कि चुनाव के बाद स्वास्थ्य साथी कार्ड बेकार हो जाएगा. अगर राज्य में भाजपा की सरकार बनती है, तो बंगाल के लोगों को आयुष्मान भारत कार्ड ही दिया जाएगा. खैर, यह तो चुनाव के बाद राज्य में बनने वाली सरकार पर निर्भर करता है. लेकिन उससे पहले सिलीगुड़ी से लेकर पूरे उत्तर बंगाल में यह चर्चा चल पड़ी है कि स्वास्थ्य साथी कार्ड को क्या निजी नर्सिंग होम अथवा निजी अस्पताल मान्यता देने को तैयार हैं. हालांकि अभी तक निजी अस्पताल एसोसिएशन की ओर से कोई बयान सामने नहीं आया है, पर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने राज्य के निजी अस्पताल तथा नर्सिंग होम वालों को स्पष्ट लहजे में बता दिया है कि अगर कोई नर्सिंग होम अथवा अस्पताल स्वास्थ्य साथी कार्ड की उपेक्षा करता है, तो उसका लाइसेंस रद्द कर दिया जाएगा. हालांकि यह सब इतना आसान भी नहीं होता क्योंकि अस्पताल प्रबंधन आई एम ए की गाइडलाइंस को फॉलो करते हैं, जिसका स्टेट से कोई लेना देना नहीं होता. बहरहाल इन दिनों सिलीगुड़ी में कार्ड बनवाने के लिए लोगों की भारी भीड़ उमड़ रही है.